Itihas Subjective Question 2024 12th Class | Class 12th HISTORY ( इतिहास ) Subjective

Itihas Subjective Question 2024 12th Class :-  दोस्तों यदि आप Class 12th HISTORY ( इतिहास ) Subjective की तैयारी कर रहे हैं तो यहां पर आपको इतिहास UNIT-XIII महात्मा गाँधी समकालीन दृष्टि में Subjective,दिया गया है जो आपके Class 12th History Important Subjective Questions Answer 2024 in Hindi के लिए काफी महत्वपूर्ण है | Inter Exam 2024 Subjective Question Answer


Itihas Subjective Question 12th Class

1. दांडी मार्च का उद्देश्य क्या था ? (What was the aim of Dandi March ?)

उत्तर   महात्मा गांधी द्वारा 12 मार्च, 1930 में अहमदाबाद के पास साबरमती आश्रम से दांडी मार्च की शुरुआत की गई थी। इस मार्च का मुख्य उद्देश्य था नमक जैसी नैसर्गिक वस्तु पर कर लगाने के कानून का विरोध करना । समुद्र किनारे दांडी में समुद्र जल से नमक तैयार कर गाँधी जी सविनय अवज्ञा आंदोलन की शुरुआत की थी।


2. चम्पारण सत्याग्रह का संक्षेप में विवरण दें। (Describe in brief about the Champaran Satyagraha.)

उत्तर   1917 ई० में गाँधीजी द्वारा चंपारण के किसानों की समस्या को लेकर स्थानीय स्तर पर जो आंदोलन किया गया उसे चंपारण आंदोलन कहा जाता है। चंपारण के राजकुमार शुक्ल के अनुरोध पर गाँधीजी चंपारण आए। यहाँ के किसानों को अंग्रेज नील मिल मालिकों द्वारा तीनकठिया प्रणाली द्वारा किसानों का शोषण किया जा रहा था। अंततः यह आंदोलन सफल हुआ तथा किसानों को तीनकाठिया प्रणाली से मुक्ति मिली।


3. जालियाँवाला बाग हत्याकांड पर एक टिप्पणी लिखें। (Write a note on Jallianwala Bagh Massacre.)

उत्तर   रॉलेट ऐक्ट का विरोध गाँधी सहित देश के अन्य नेताओं द्वारा विभिन्न भागों में किया गया। इसी ऐक्ट एवं पंजाब के दो लोकप्रिय नेता डॉ० सतपाल एवं डा० किचलु के गिरफ्तारी के विरोध में अमृतसर के जालियाँवाला बाग में हजारों लोग शांतिपूर्ण ढंग से सभा कर रहे थे। बिना चेतावनी दिए पंजाब के तत्कालीन सैन्य अधिकारी डायर ने गोलियाँ चलाने का आदेश दिया।

इस बाग में केवल एक ही सँकरा दरवाजा था। इससे जनता में अफरा-तफरी मच गयी और लोग बाहर नहीं निकल सकें। इस गोलीकाण्ड में करीब 379 लोग मारे गये और हजारों की संख्या में घायल हुये। इस घटना से पूरा देश स्तब्ध रह गया और इसके विरोध में गाँधी जी के नेतृत्व में असहयोग आंदोलन शुरू की गई।


4. होमरूल आंदोलन पर एक संक्षिप्त टिप्पणी लिखें। (Write a short note on Home-Rule Movement.)

उत्तर   प्रथम विश्वयुद्ध के दौरान कांग्रेस के दोनों धड़ों में एकता, कांग्रेस-लीग एकता एवं सहयोग की भावना के साथ-साथ स्वराज्य की प्राप्ति के लिए होमरूल आंदोलन जोर पकड़ने लगा। तिलक मांडले जेल से वापस आने के बाद आयरलैंड की तर्ज पर होमरूल आंदोलन चलाने का निश्चय किया। 1916 में एनीवेसेंट और तिलक ने अखिल भारतीय होमरूल लीग की स्थापना किये। एनीवेसेंट द्वारा स्थापित होमरूल लीग की शाखा पूरे देश में खोली गई। इसमें मोतीलाल नेहरू, तेज बहादुर स्प्रू जैसे प्रमुख नेताओं ने भाग लिया ।

होमरूल आंदोलन का प्रमुख उद्देश्य जनता द्वारा गृहशासन की स्थापना करना था। इस आंदोलन ने उग्रवाद और क्रांतिकारी मार्ग छोड़कर भारतीयों में शांतिपूर्ण वैधानिक संघर्ष के लिए जनमानस को तैयार किया।


5. मुस्लिम लीग की स्थापना कैसे हुई ? (How was the Muslim League formed ?)

उत्तर   1857 के विद्रोह के पश्चात् मुसलमान सामान्यत: अंग्रेज विरोधी थे, परंतु अलीगढ़ आंदोलन और सैय्यद अहमद के प्रयासों से मुसलमानों की विचारधारा बदली। उनमें अंग्रेजों के प्रति स्वामी भक्ति की भावना जगी। बंगभंग आंदोलन का लाभ उठाकर अंग्रेजों ने हिन्दू-मुसलमानों में फूट डालकर उन्हें अपने पक्ष में करने का प्रयास किया। इस उद्देश्य से मुसलमानों की मांगों पर सहानुभूतिपूर्ण ढंग से विचार किया गया। अक्टूबर 1906 में मुसलमानों का एक प्रतिनिधि मंडल शिमला में लार्डमिंटों से मिला। इसका नेतृत्व आगा खाँ ने किया। प्रतिनिधि मंडल ने राजभक्ति प्रकट की तथा सांविधानिक और प्रशासनिक अधिकारों की मांग की। मिंटो ने उनकी मांगों को पूरा करने का आश्वासन दिया। इससे उत्साहित होकर मुसलमानों ने अपना राजनीतिक संगठन बनाने का प्रयास किया। फलतः 30 दिसम्बर, 1906 को ढाका में नवाब सली मुल्लाह और आगा खाँ ने ऑल इंडिया मुस्लिम लीग की स्थापना की।


6. रॉलेट एक्ट पर टिप्पणी लिखें। (Write note on Rowlant Act.) 

उत्तर   मार्च 1919 ई० में अंग्रेजी सरकार द्वारा रॉलेट एक्ट पास किया गया। इस एक्ट के अनुसार सरकार किसी भी व्यक्ति पर संदेह मात्र होने से उसे बंदी बनाकर उस पर गुप्त रूप से मुकदमा चला उसे दण्ड दे सकती थी। इसके अनुसार सरकार को बंदी प्रत्यक्षीकरण के अधिकार को स्थगित करने का अधिकार दे दिया गया। यह एक काला कानून था जिसका विरोध पूरे देश में हुआ। इसी के कारण जालियाँवालाबाग हत्याकांड हुआ ।


Class 12th HISTORY ( इतिहास ) Subjective

7. सविनय अवज्ञा आंदोलन के दो कारण लिखें। (Write two causes of the Civil Disobedience Movement.)

उत्तर   सविनय अवज्ञा आंदोलन के दो कारण निम्नलिखित हैं

(i) आर्थिक शोषण – अंग्रेजों द्वारा भारत का बड़े पैमाने पर आर्थिक शोषण किया जा रहा था। नमक जैसे नैसर्गिक चीजों पर भी कर बढ़ा दिए। इससे भारतीयों में असंतोष बढ़ने लगा।

(ii) क्रांतिकारी घटनाओं का प्रभाव- असहयोग आंदोलन के बाद देश में क्रांतिकारी घटनाओं की वृद्धि होने लगी थी। भारत के नवयुवकों में हिंसा की राजनीति घर करने लगी। इससे उबरने के लिए गाँधीजी द्वारा अहिंसक तरीके से 1930 ई० में सविनय अवज्ञा आंदोलन की शुरुआत की।


8. 1935 के अधिनियम की कोई तीन विशेषताओं को लिखिए। (Write any three features of the act of 1935.)

उत्तर   तीन गोलमेज सम्मेलनों में भारतीय समस्याओं पर विचार विमर्श के उपरांत ब्रिटिश संसद द्वारा 1935 ई० में अधिनियम पारित किया गया। इस अधिनियम की निम्नलिखित विशेषताएँ हैं

(i) केन्द्र में द्वैध शासन की स्थापना — इस अधिनियम के अनुसार केन्द्र में द्वैध शासन लागू किया गया । संघीय विषयों को दो भागों में बाँटा गया— (i) आरक्षित विषय (ii) हस्तान्तरित विषय ।

(ii) प्रांतीय स्वायत्तता— 1935 ई० के अधिनियम द्वारा प्रांतों में द्वैध शासन को समाप्त करके प्रांतीय स्वायतता स्थापित की गई। इसके अनुसार गवर्नर को मंत्रीपरिषद के परामर्श से कार्य करना था और मंत्रिमण्डल विधान सभा के प्रति उत्तरदायी था।


9. भारत में मुस्लिम सांप्रदायिकता के दो कारणों को बतलाइए। (Write any two causes of the rise of muslim communalism in India.)

उत्तर   भारत में मुस्लिम सांप्रदायिकता के उदय के दो कारण निम्नलिखित हैं

(i) अंग्रेजों की फुट डालो और शासन करो की नीति- भारत में मुस्लिम सांप्रदायिकता अंग्रेजों की देन है। भारत में अपने साम्राज्य की रक्षा करने के लिये उन्होंने “फुट डालो और शासन करो” की व्यापक नीति अपनायी थी और इसके लिए भारत के विभिन्न समुदायों को एक दूसरे से पृथक रखना, उनमें द्वेष उत्पन्न करना आवश्यक हो गया था। अंग्रेज अपनी कुटील चालों द्वारा सुनियोजित ढंग से फुट डालकर मुस्लिम नेताओं का सहयोग प्राप्त किया।

(ii) सैयद अहमद खाँ के प्रयास-मुसलमानों को अंग्रेजों के प्रियपात्र बनाने में सबसे बड़ी भूमिका सर सैयद अहमद खाँ ने निभाई। प्रारंभ में उनका दृष्टिकोण राष्ट्रवादी था, बाद में उनका दृष्टिकोण संकीर्ण और रूढ़ीवादी हो गया। उन्होंने मुसलमानों को अंग्रेजों का साथ देने का आह्वान किया।


10. नेहरू रिपोर्ट पर प्रकाश डालें। (Throw light on the Nehru Report.)

उत्तर ⇒  पं० मोतीलाल नेहरू की अध्यक्षता में गठित एक समिति ने 1928 में भारत के भावी संविधान की जो रूपरेखा तैयार की उसे नेहरू रिपोर्ट कहा जाता है। इसमें भारत को औपनिवेशिक स्वराज्य प्रदान करने की माँग रखी गयी। इसकी अन्य महत्त्वपूर्ण सिफारिशें थीं केन्द्र में द्विसदनात्मक व्यवस्थापिका की स्थापना, प्रान्तों में उत्तरदायी शासन की स्थापना, प्रिवी कौंसिल की समाप्ति तथा एक सर्वोच्च न्यायालय का गठन। रिपोर्ट में नागरिक अधिकारों की सुरक्षा की व्यवस्था, बालिग मताधिकार, सांप्रदायिक निर्वाचन प्रणाली की समाप्ति तथा अल्पसंख्यकों के लिए जनसंख्या के आधार पर क्षेत्र विशेष में स्थान आरक्षित करने की व्यवस्था की गयी।


11. गाँधी-इरविन समझौता का परिचय दें। (Give an introduction of the Gandhi – Irwin Pact.)

उत्तर ⇒  1930 में गाँधी द्वारा सविनय अवज्ञा आंदोलन आरंभ करने, क्रांतिकारी आंदोलन में वृद्धि, प्रथम गोलमेज सम्मेलन की विफलता ने सरकार को गाँधीजी से वार्ता करने को बाध्य कर दिया । वायसराय इरविन ने उनसे समझौता के लिए वार्ता आरंभ कर दी। 5 मार्च, 1931 को गांधी इरविन पैक्ट हुआ । इसके अनुसार सरकार ने राजनीतिक बंदियों को मुक्त करने; असहयोग आंदोलन के दौरान जब्त की गयी संपत्ति लौटाने, दमनात्मक कार्रवाई बंद करने तथा मुकदमें वापस लेने की शर्त मान ली। भारतीयों को नमक बनाने का अधिकार मिला। इन सबके बदले में गाँधीजी ने आंदोलन वापस लेने, बहिष्कार की नीति त्यागने एवं द्वितीय गोलमेज सम्मेलन में भाग लेने की सहमति प्रदान की।


12. कांग्रेस का लाहौर अधिवेशन ऐतिहासिक अधिवेशन क्यों था? (Why did the Lahore Conference of congress was historic conference?)

उत्तर ⇒  जब नेहरू रिपोर्ट अपने उद्देश्य की पूर्ति में असफल रही तो कांग्रेस ने कलकत्ता अधिवेशन में औपनिवेशिक स्वराज्य की बजाय पूर्ण स्वराज्य को अपना राजनीतिक ध्येय घोषित करने का निर्णय लिया और 31 दिसंबर, 1929 ई० को लाहौर के स्थान पर अधिवेशन बुलाया । इस ऐतिहासिक अधिवेशन के अध्यक्ष प० जवाहरलाल नेहरू थे। आधी रात के समय रावी नदी के किनारे पूर्ण स्वाधीनता का प्रस्ताव पास किया गया और पं० नेहरू ने ‘इंकलाब जिंदाबाद’ के नारों के बीच राष्ट्रीय झंडे को फहराया। लाहौर कांग्रेस ने पूर्ण स्वाधीनता की प्राप्ति के लिए अहिंसात्मक आंदोलन जारी रखने को भी कहा। यह आदेश भी दिया गया कि 26 जनवरी, 1930 ईο का दिन समस्त भारत वर्ष में स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया जाए। उस दिन हर गाँव में सभायें की जाए जिनमें स्वाधीनता के प्रतिज्ञा पत्र को पढ़ा जाए और राष्ट्रीय झंडा लहराया जाए।


13. 1916 के लखनऊ समझौता पर टिप्पणी लिखें। (Write a note on the Lucknow pact of 1916.).

उत्तर ⇒  प्रथम विश्वयुद्ध के दौरान कांग्रेस का अधिवेशन 1916 में हुआ । इस अधिवेशन में कांग्रेस एकता स्थापित हुई ही; साथ ही कांग्रेस और मुस्लिम लीग में एक लिखित समझौता हुआ जिसे लखनऊ पैक्ट कहा जाता है। इसके मुख्य कारण थे कांग्रेस और मुस्लिम लीग का राष्ट्रीय आंदोलन में एक साथ चलने की आकांक्षा । इस समझौते को सफल बनाने में तिलक और जिन्ना की महत्त्वपूर्ण भूमिका थी।

समझौते के अनुसार कांग्रेस ने मुसलमानों के लिए साम्प्रदायिक निर्वाचन प्रणाली एवं अधिक प्रतिनिधित्व की लीग की माँग स्वीकार कर ली। समझौते द्वारा राष्ट्रीय प्रश्नों पर हिन्दू-मुसलमानों में एकता का प्रयास आरंभ किया गया। मगर यह स्थायी नहीं हो सका।


Class 12th History Important Subjective Questions Answer 

14. स्वराज्य पार्टी की स्थापना के क्या कारण थे? (What were the causes of the establishment of Swaraj Party?)

उत्तरचितरंजनदास और मोतीलाल नेहरू ने 1 जनवरी, 1923 ई० को इलाहाबाद में स्वराज्य पार्टी की स्थापना की। इस पार्टी की स्थापना के निम्नलिखित कारण थे

(i) स्वराज्य प्राप्त करने के लिए रचनात्मक कार्यक्रम पर्याप्त नहीं थे। इसके लिए संघर्षपूर्ण

नवीन कार्यक्रम को अपनाया जाना आवश्यक था।

(ii) खिलाफत आंदोलन के पश्चात् ऐसे आंदोलन की आवश्यकता थी कि जिसमें मुसलमानों को आकृष्ट किया जा सके।

(iii) स्वराज्यवादी परिषदों के चुनाव में भाग लेकर इसे अंदर से पंगु बना देना चाहती थी ।


15. भारत छोड़ो आंदोलन की व्याख्या करें। (Discuss the Quit India Movement.)

उत्तर ⇒  क्रिप्स मिशन की असफलता से भारतीयों में निराशा और क्षोभ व्याप्त हो गया। इस बीच द्वितीय विश्वयुद्ध में मित्रराष्ट्रों की स्थिति कमजोर पड़ गयी थी। ऐसी स्थिति में भारत पर जापानी आक्रमण का खतरा और बढ़ते जा रही थी। इन सभी कारणों से भारतीयों में आतंक और बेचैनी बढ़ गई। गाँधीजी इन सारी परिस्थितियों पर नजर रखे हुये थे। उनके मन में यह बात आयी कि जनता को इस निराशा और घबराहट से उबारने का एक मात्र उपाय यह है कि एक अहिंसक आन्दोलन शुरू किया जाये। उन्होंने सरकार से ‘भारत छोड़ने’ और सता भारतीयों को तत्काल सौंपने की माँग की। इसके लिए बम्बई में कांग्रेस का अधिवेशन हुआ और इसी अधिवेशन के अवसर पर 8 अगस्त, 1942 को ‘भारत छोड़ो आन्दोलन’ का प्रस्ताव पास हुआ और गाँधीजी के नेतृत्व में ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ शुरू करने की घोषणा की गई।


16. अगस्त प्रस्ताव से आप क्या समझते हैं? (What do you understand by August offer.)

उत्तर ⇒  ब्रिटिश सरकार के द्वारा भारतीयों को उनकी मर्जी के बिना युद्ध में शामिल कर दिया गया था। 1940 में जब सरकार की हालत बिगड़ने लगी तो उन्होंने भारतीयों से सहायता की अपील की। 8 अगस्त, 1940 को तत्कालीन वायसराय लिनलिथगो ने अगस्त प्रस्तावों की घोषणा की जिसके अनुसार कार्यकारिणी में भारतीयों की संख्या बढ़ाने की बात कही गयी थी। इसके अतिरिक्त ‘युद्ध परामर्श समिति’ का गठन करने तथा अल्पसंख्यकों को भरोसे में लेने की बात कही गयी थी। युद्ध के बाद भारतीयों के साथ संवैधानिक विचार-विमर्श की बात कही गयी।


17. क्रिप्स मिशन पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखें। (Write a short note on cripps mission.)

उत्तर ⇒  द्वितीय विश्वयुद्ध में भारतीयों से सहयोग प्राप्त करने के उद्देश्य से सरकार ने सर

स्टैफर्ड क्रिप्स के नेतृत्व में एक सद्भावना मंडल भेजा। इस मिशन की प्रमुख बातें इस प्रकार हैं

(i) ब्रिटिश राष्ट्रमंडल के अंतर्गत भारत को पूर्ण औपनिवेशिक स्वराज्य दिया जाए।

(ii) जब तक संविधान सभा का निर्माण न हो, अंग्रेज ही भारत की सुरक्षा के लिए उत्तरदायी होंगे।

(iii) भारत इन सुधारों के बदले युद्ध में सरकार की मदद करेगी।


18. कैबिनेट मिशन योजना के मुख्य विशेषताओं का उल्लेख करें। (Discuss the salient features of cabinet Mission Plan.)

उत्तरकांग्रेस-लीग में समझौता न होने के कारण कैबिनेट मिशन ने 16 मई, 1946 को भारत के संवैधानिक गतिरोध को दूर करने के लिए योजना पेश की, उनकी

(i) मिशन ने पाकिस्तान की माँग को अस्वीकार कर दिया । मुख्य

(ii) भारत के लिए संघ शासन का प्रस्ताव रखा गया।

(iii) जो विषय संघ सूची में नहीं है, वे सब प्रान्तों के पास होंगे।

(iv) कैबिनेट मिशन ने संविधान बनाने के लिए संविधान सभा की रचना के लिए योजना पेश की।


19. कब और क्यों साइमन कमीशन भारत आया ? (When and why did Simon Commission come to India ?)

उत्तर ⇒  साइमन कमीशन भारत 3 फरवरी, 1928 ई० को आया था। साइमन कमीशन के भारत आगमन का मुख्य कारण था भारत में संविधानिक सुधारों का अध्ययन करना। इसमें कोई भारतीय सदस्य नहीं था। इसी कारण साइमन कमीशन का पूरे देश में विरोध हुआ।

Itihas Subjective Question 12th 


SN. Class 12th History Short  Question
UNIT – IClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – IIClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – IIIClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – IVClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – VClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – VIClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – VIIClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – VIIIClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – IXClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – XClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – XIClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
UNIT – XIIClass 12th History ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) Question
 S.Nभाग – B मध्यकालीन भारत 
 UNIT – VClass 12th History Objective Chapter 5
 UNIT – VIClass 12th History Objective Chapter 6
 UNIT – VIIClass 12th History Objective Chapter 7
 UNIT – VIIIClass 12th History Objective Chapter 8
 UNIT – IXClass 12th History Objective Chapter 9
S.N Class 12th Arts Question  Paper
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